आप नहीं समझ सकते कि आपकी राय हमारी सोच व जिन्दगी को किस तरह प्रभावित करती है।हम जानते हैं कि अत्याचारों और भेदभाव से त्रस्त होकर इनसान कुछ ऐसा कर गुजरता है जो उसकी प्रवृति का हिस्सा नहीं होता।हिन्दू आज जिस दौर से गुजर रहा है वो निहायत ही खतरनाक दौर है अगर तिरसकार व अपमान से ग्रस्त हिन्दू को आज न संभाला गया तो देश में वो तांडव होगा जिसकी किसी ने कल्पना तक नहीं होगी।क्योंकि जो सेकुलर गिरोह मुठीभर मुसलिम आतंकवादियों व माओवादी आतंकवादियों के आगे नतमस्तक है वो भला हिन्दूओं के प्रतिशोध से पैदा हुई क्रांति का सामना करने की सोच भी कैसे सकता है?समाधान एक ही है कि ततकाल सब सांप्रदाए अधारित नियम रद्द कर भारतीयों के लिए नियम वनाकर कानून के सामने व देश के संसाधनों पर हिन्दूओं के समान अधिकार बहाल किए जायें या फिर हिन्दूओं के शत्रु व देश के गद्दार उस तांडब का सामना करने के लिए तैयार हो जायें जो गद्दारों का देश से नमोनिशान मटाकर रख देगा। वक्त है सम्भल जाओ!
धर्मनिर्पेक्ष आतंकवादियों द्वारा रचे जा रहे हिन्दूविरोधी-देशविरोधी षडयन्त्रों को उजागर करने की कोशिश। हमारा मानना है कि भारत में कानून सांप्रदाय,जाति,भाषा,क्षेत्र,लिंग अधारित न बनाकर भारतीयों के लिए बनाए जाने चाहिए । अब वक्त आ गया है कि हिन्दूमिटाओ-हिन्दूभगाओ अभियान चलाने वाले भारतविरोधी धर्मनिर्पेक्ष आतंकवादियों को उनके समर्थकों सहित खत्म करने के लिए सब देशभक्तों द्वारा एकजुट होकर निर्णायक अभियान चलाया जाए।
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2 टिप्पणियां:
1....1....1....1.....1 matr 1 bchcha se adhik nhi paida karna ka kanoon bnana ati aavashyak hai.hr varg- hr jaati ke lie... kanoon aaj hi bna do.... parinam milega 25-30 sal bad. fir sab thik ho jaega.
सही बात न करो मेरे भाई लोग आपके भी सांप्रदायिक करार दे देंगे।
बैसे ये आसान व शांतिप्रिय हल है परन्तु सेकुलर गिरोह की फूट डालो और राज करो की निती को सवीकार नहीं।
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