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मोदीराज लाओ

मोदीराज लाओ
भारत बचाओ

मंगलवार, 15 जून 2010

एक मुसलमान के बदले 32 हिन्दू-सिखों के कत्ल की तैयारी।आओ मिलकर बचाने का प्रयत्न करें।

हमारे पास कहने के लिए शब्द नहीं हैं बस इतना कहेंगे कि हम इन हिन्दू-सिखों को बचाने के लिए अपनी तरफ से 51000 रूपए देने को तैयार हैं अगर आप भी कुछ दे सकते हैं तो आप पंजाब केसरी के विजय चोपड़ा जी से संम्पर्क करें।
हम भी उनसे ही सम्पर्क करेंगे।हमारी विजय चोपड़ा जी से कोई बात नहीं हुई है पर हमें पूरा विस्वास है कि इन हिन्दू-सिखों को आदमखोर मुसलमानों से बचाने के लिए वो जरूर आगे आयेंगे । कशमीरघाटी से मुसलमानों द्वारा उजाड़े गए हिन्दूओं की सहायता के लिए वो हमेशा काम करते रहें हैं आशा है ये नेक काम भी उनके द्वारा ही पूरा होगा।अगर आपको सही लगे तो हमें भी जानकारी भेज दें जी।





आप विजय जी से फोन शंख्या 0181----5030000 पर बात कर सकते हैं ।
हमने अभी फोन किया था तो हमें बताया गया कि उनसे आधे घंटे बाद बात हो सकेगी । जो भी बात होगी वो हम आपको टिप्पणी के माध्यम से बता देंगे जी।

विजय जी से अभी हमारी बात हुई।




उन्होंने बताया कि अभी कोई पैसा ने भेजें सिर्फ इस कार्य में सहायता के लिए अपना पत्र/Email भेज दें क्योंकि अभी तक उन्होंने कोई फंड नहीं बनाया ।अभी सिर्फ समाचार छपा है।


वो पता लगाने की कोशिश करेंगे अगर कोई उपयुक्त ब्यक्ति या संस्था मिली तो फिर वो खुद सम्पर्क कर लेंगे। विजय जी का इ-मेल पता निम्नलिखित है।


news@thepunjabkesari.com दुबई में कैद हिन्दू-सिखों को छुड़वाने में सहयोग देने के वारे में(FOR KIND ATTENTIONOF RESPECTED VIJAY CHOPRA JI

26 टिप्‍पणियां:

पी.सी.गोदियाल "परचेत" ने कहा…

Few lines from one of my old writeup;
जैसा कि अब तक आपलोग भी जान चुके होंगे कि इस १७ सदस्यीय फांसीयाफ्ता दल में लगभग सभी युवक हिन्दू और सिख है और ज्यादातर पंजाब प्रांत के है। एक नासमझ बच्चा भी क़त्ल की पृष्ठभूमि को देखकर अदालत के निर्णय पर उंगली उठा सकता है। क्योंकि निर्णय में बहुत से खोट है। इस देश में ये लोग गुजरात दंगों में नरेंद्र मोदी से इन्साफ मांग रहे है, लेकिन अपनी गिरेवान में झांकना भूल जाते है कि इनके शरिया कानूनों का ये खुद ही किस तरह मखौल उड़ाते है। जुबान पर अल्लाह का नाम रखेंगे और दिनभर में ह़जार झूठ बोलते रहेंगे। कसाब के मामले में पाकिस्तान की अदालतों का कपट पूर्ण व्यवाहार जग-जाहिर है, कि किस तरह उन्होंने मुंबई दंगो के मास्टर माइंड को बचाया ।

अब मजेदार बात यह है कि जिस पाकिस्तानी को इन ५०-६० हिन्दू और सिख मजदूरों ने पीटा था ( जानकारी के मुताविक उन्होंने उसे मारने के उद्देश्य से नहीं पीटा था, ५०-६० लोगो के हंगामे के बीच कैसे और कौन उस पाकिस्तानी के सिर पर लोहे की छड मार गया, उन १७ युवकों को भी नहीं मालूम, उन्हें तो सिर्फ वहां की पुलिस ने घटना के बाद घटनास्थल से गिरफ्तार किया था, और वह पाकिस्तानी बाद में अस्पताल में मरा था) वह पाकिस्तानी शराब के गैरकानूनी धंधे में लिप्त था, यानी इस्लाम के मुताविक हराम का काम कर रहा था, तो अगर फैसला सुनाने वाला भी सच्चा मुसलमान था तो उसे तो इन १७ भारतीयों को फांसी की सजा सुनाने के बजाये इनाम देना चाहिए था कि उन्होंने एक इस्लाम के हराम को ही हलाल कर दिया, क्योंकि वह पाकिस्तानी तो इस्लाम का सबसे बड़ा गुनाहगार था! लेकिन नहीं वहाँ तो इनके लिए उन शरिया कानूनों का उद्देश्य किसी बहाने दूसरे धर्म के लोगो को हलाल करना मात्र है। काश कि उस जज को अपने दुर्भावना और पूर्वाग्रहों से गर्षित कृत्यों पर तनिक शर्म भी आती।

Unknown ने कहा…

आप अपनी राय नहीं दे रहे हैं बहुत दुख हो रहा है ।
इस कार्य में आप अगर 11 रूपए भी देते हैं तो भी हमारे शत्रुओं को हमारी जागरूकता की एक झलक मिल जाएगी। मामला पैसे का नहीं जागरूकता का है।
पैसे तो तब देंगे जब विजय जी तैयार होंगे और अगर जरूरत पड़ेगी तो ।
पर संवेदना तो अभी बयक्त की जा सकती है उन पिड़ीतों के प्रति ।

सूबेदार ने कहा…

Bharat me pakistani atankbadiyo ko damad ki tarah sewa murg musallam se niche kuchh nahi .
yah to bharat ki sekular niti ka natija hai .
mahatwapurn jankari ke liye dhanyabad.
jabtak hindu jagega nahi koi bikalp nahi hai.

Unknown ने कहा…

गोदियाल जी धन्याबाद

Taarkeshwar Giri ने कहा…

Bhai wahi! maja aa gaya. ek achha mudda lekar ke aaye hain aap. Main apke sath hun.

is ke bare main main apna ek purani post ka link bhej raha hun, samay milye to jarur padhiyega.

http://taarkeshwargiri.blogspot.com/2010/04/2.html

Unknown ने कहा…

Tarkeshwar Giri जी आपने सब बात सही लिखी है पर आपकी पोस्ट पढ़ने के बाद हमें सिर्फ इतना ही कहना है कि
जनाब भूला तो उसे कहते हैं जो गलती से एक आधवार अपराध करे पर जो इसलाम के नाम पर सदियों से खून बहाते चले आ रहे हैं वो आदमखोर हैं उनका अन्त ही हमारी रक्षा की गारंटी है।

Unknown ने कहा…

विजय जी से अभी हमारी बात हुई।
उन्होंने बताया कि अभी कोई पैसा न भेजें सिर्फ इस कार्य में सहायता के लिए अपना पत्र/Email भेज दें क्योंकि अभी तक उन्होंने कोई फंड नहीं बनाया ।अभी सिर्फ समाचार छपा है।
वो पता लगाने की कोशिश करेंगे अगर कोई उपयुक्त ब्यक्ति या संस्था मिली तो फिर वो खुद सम्पर्क कर लेंगे। विजय जी का इ-मेल पता निम्नलिखित है।


news@thepunjabkesari.com दुबई में कैद हिन्दू-सिखों को छुड़वाने में सहयोग देने के वारे में(FOR KIND ATTENTIONOF RESPECTED VIJAY CHOPRA JI

aarya ने कहा…

सादर वन्दे !
आपके इस प्रयास के लिए धन्यवाद | हम आपके साथ हैं, हमसे जो बन पड़ेगा करेंगे !
रत्नेश त्रिपाठी

फ़िरदौस ख़ान ने कहा…

भारत सरकार इस मामले में क्या कर रही है...?

Unknown ने कहा…

फिरदौस जी ये अंग्रेज एंटोनिया की गुलाम सरकार है इस सरकार व सेकुलर गिरोह की नजर में हिन्दू-सिख तो इनसान ही नहीं हैं।आपको याद होगा जब हिथरो हबाई अड्डे पर बम्म विस्फोट करने वाला मुसलिम आतंकवादी पकड़ा गया था तो प्रधानमन्त्री मनमोहनखान को सारी रात नींद नहीं आई थी क्योंकि वो हिन्दू नहीं था लेकिन 32 हिन्दू-सिखों के होने जा रहे कत्ल व उन पर हो रहे अत्याचारों पर इस प्रधानमन्त्री को कोई फर्क नहीं पड़ता।

फ़िरदौस ख़ान ने कहा…

सुनील जी आपकी परेशानी जायज़ है...
जिस दिन हमारे मुल्क में किसी भी मुद्दे को मज़हब के चश्मे से देखना बंद कर दिया जाएगा... यक़ीन मानिए उसी दिन से समस्याओं का हल होना शुरू हो जाएगा...
ये सभी 32 लोग, पहले हिन्दुस्तान के नागरिक हैं, बाद में हिन्दू या सिख... और उनकी ज़िन्दगी को बचाना भारत सरकार की ज़िम्मेदारी है...

वैसे हम भी ख़ान हैं... हा हा हा...

Unknown ने कहा…

फिरदौस जी भगवान करे कयामत से पहले वो दिन आ जाए बरना जो होने जा रहा है शायद उसकी कलपना ये अलगावबाद का जैहर घोलने वालों को नहीं है।

nilesh mathur ने कहा…

सरासर अन्याय है, इन हिन्दू और सिख भाइयों के लिए हमसे जो सहयोग बन पड़ेगा ज़रूर करेंगे!
nilumathur@gmail.com

भारतीय नागरिक - Indian Citizen ने कहा…

जैसे ही फण्ड बने, तुरन्त खबर करें ब्लाग के जरिये. हम लोग मदद करेंगे... फिरदौस जी की बात सही है... बस हुक्मरानों की समझ में आ जाये तो...

Unknown ने कहा…

अपने हिन्दू-सिखों की रक्षा के लिए आगे आने पर आप सबका धन्यवाद जैसे ही फंड बनेगा हम आपको जरूर सूचित करेंगे जी।

Pramendra Pratap Singh ने कहा…

अराजकता के विरूद्ध जनआंदोलन जरूरी है।

सच का बोलबाला, झूठ का मुँह काला ने कहा…

आपसे सहमत हैं जी! परन्तु महिलाओं के ब्लोगों पर उछलने वाला महफूज नहीं आया?

सच का बोलबाला, झूठ का मुँह काला ने कहा…

यह गैर मुसलमाओं के खून के प्यासे हैं जी. विश्वास न हो तो हमारे ब्लॉग पर आकर देख लो

सच का आइना दिखाने वाला कोई तो आया

Islam = Sex+Terrorism

-इस्लाम अय्याशी (चार निकाह, जन्नत में 72 हूरें) और आतंक (जिहाद) का पाठ पढाता है

-ये लोग अपनी बहनो को भी नहीं छोडते, उनसे निकाह करके बिस्तर में ले जाते हैं

-कोई मुसलमान हिन्दू धर्म की प्रशंसा कर दे तो उसे मजहब से निकाल देते हैं

-हिन्दू धर्म ग्रथों को जलाना, मन्दिरों को तोडना, देवी-देवताओं के अश्लील चित्र बनाना, उनके बारे में अपशब्द बोलना इनकी घृणित मानसिकता का प्रमाण है

- हिन्दुओं को मिटाने या मुसलमान बनाने पर इनको जन्नत रूपी अय्याशी का अड्डा मिलता है

-मुसलमान (ना)मर्दों को बुरका बहुत भाता है, क्योंकी बुरके में छिपकर ये "बहुत कुछ" करते हैं

- मुसलमान फर्जी नामों का बुरका पहनकर भौंकते फिरते रहते हैं

-कुल मिलाकर इस्लाम (ना)मर्दों का मजहब है

कहत कबीरा-सुन भई साधो ने कहा…

@पी.सी.गोदियाल
@सच का बोलबाला, झूठ का मुँह काला

से सहमत

Sulabh Jaiswal "सुलभ" ने कहा…

मुद्दा है अपने नागरिकों को बचाने का, विदेश मंत्रालय द्वारा हस्तक्षेप करने का. इसके लिए जो सहयोग और कार्य करने की जरुरत है हमें करना चाहिए. सिर्फ चर्चा इस बात पर हो न की टिपण्णी और पोस्ट की लफ्फाजी हो. मैंने विजय जी को मेल कर दिया है, अगली सूचना देने के लिए. सुनील जी आपका धन्यवाद!

बेनामी ने कहा…

हम आपके साथ हैं, हमसे जो बन पड़ेगा करेंगे

Ayaz ahmad ने कहा…

जो वैमनस्यता तुम लोग हिंदु मुस्लिम के नाम पर फैला रहे हो वो एक बुरी बात है धर्म के नाम पर लोगो को बाँटना तुम्हारी आदत बन चुका है आप जैसे लोग ही देश बाँटने वाले अभियान मे लगे है लेकिन ब्लागजगत अब परिपक्व हो चुका है यहाँ सब तुम्हारी बातें समझ चुके है कोई तुम्हारी बातों मे आने वाला नही

सच का बोलबाला, झूठ का मुँह काला ने कहा…

यहां तो लोग पहले ही चंडाल चौकड़ियाँ बनाकर धर्म के नाम नफरत फैला रहे हैं. लखनऊ ब्लोगर एसोसियेशन के कुछ सदस्य ब्लोगरों ने तो ब्लोग जगत में सडांध फैला रखी है जी, विश्वास न हो तो असलम कासमी, जमाल, सलीम, एजाज और उसके साथियों की पोस्टें देख लो जी

शायदा ने कहा…

श्रीमान सुनीत दत्‍त जी आपके प्रोफाइल से पता चला कि आप पत्रकारिता के पेशे से जुड़े़ हैं दुखद बात यह है कि आप एक पत्रकार होकर तथ्‍यों को जाने बिना इतना कुछ लिख रहे हैं। महोदय, क्रप्‍या दुरुस्‍त कर लें ये जगह शारजाह है दुबई नहीं। इस खबर का आज का अपडेट यहां http://timesofindia.indiatimes.com/World/Indians-Abroad/UAE-court-adjourns-hea देring-of-17-Indians-on-death-ro देखें।
उम्‍मीद है कि आपके अंदर का पत्रकार अगली बार पोस्‍ट लिखने से पहले यह जरूर देख लेगा कि जिस पोस्‍ट से आप दुनिया को प्रभावित करने का प्रयास कर रहे हैं वह किस आधार पर टिकी है। वैसे ये जानने की जिज्ञासा है कि आप किस संस्‍थान के साथ जुड़े हैं।

Unknown ने कहा…

शायदा जी शायद आपने पोस्ट को शायद ध्यान से नहीं पढ़ा हमने तो देश में सबसे अधिक पढ़े जाने वाले व हमेशा आतंकवाद के विरूद्ध डटकर खड़े रहने वाले समाचार पत्र की कटिंग दिखाई है अपनी तरफ से तो हमने इतना ही कहा है कि हमें इन्हें बचाने की कोशिश करनी चादिए।समाचारपत्र ने भी अन्तराष्ट्रीय मानबाधिकार आयोग की रिपोर्ट का हबाला दिया है विलकुस उसी तरह जिस तरह आपके द्वारा दिए गए लिंक पर दिया गया है।
हां ये बात और है कि सेकुलर गिरोह से संबधित लगभग हर मानबाधिकार आयोग फर्जी है तथा उसकी रिपोर्ट हमेशा भारतीयों खासकर हिन्दूओं के मानबाधिकारों के विरूद्ध ही होती हैं। सेकुलर गिरोह से सबन्धित अधिकतर लोगों को सिर्फ और सिर्फ उन आतंकवादियों के दानवाधिकारों की चिन्ता रहती है जो हमेशा भारत को लहुलूहान करते रहते हैं।
शायदा जी हमें खुशी होती आगर आप इस अभियान में सहयोग की बात करतीं तो।
खैर आपको जो सही लगा वो आपने लिखा हमें जो सही लग रहा है वो हम लिख रहे हैं।
आशा है आप इस बात को समझेंगी कि हिन्दूओं पर दुनिया में कहीं भी होने वाले हमले पर हमें अपनी प्रतिक्रिया अपने तरीके से देने का अधिकार है।

Unknown ने कहा…

अयाज एहमद जी जगह-जगह बम विसफोट तुम करो,बन्देमातरम का विरोध तुम करो,जनशंख्या निती का विरोध तुम करो ,हिन्दूओं के आस्था के प्रतीकों का अपमान तुम करो,आतंकवादियों को शरण तुम दो,कशमीरघाटी में छोटे-छोटे बच्चों को हलाल तुम करो,संविधान का विरोध तुम करो ,जिस पतर में खा रहे हो इसी में छेद तुम करो,नमक हरामी और गद्दारी तुम करो ,अलगाववाद को बढ़ाबा तुम दो और हम सिर्फ लोगों को उसकी जानकारी भर दे दें तो आप हम पर नफरत फैलाने का आरोप लगा दो और आप से उमीद भी क्या की जा सकती है।