धर्मनिर्पेक्ष आतंकवादियों द्वारा रचे जा रहे हिन्दूविरोधी-देशविरोधी षडयन्त्रों को उजागर करने की कोशिश। हमारा मानना है कि भारत में कानून सांप्रदाय,जाति,भाषा,क्षेत्र,लिंग अधारित न बनाकर भारतीयों के लिए बनाए जाने चाहिए । अब वक्त आ गया है कि हिन्दूमिटाओ-हिन्दूभगाओ अभियान चलाने वाले भारतविरोधी धर्मनिर्पेक्ष आतंकवादियों को उनके समर्थकों सहित खत्म करने के लिए सब देशभक्तों द्वारा एकजुट होकर निर्णायक अभियान चलाया जाए।
बुधवार, 25 अगस्त 2010
Who has gone mad Congress or Media or both?
आज पुलिस अधिकारियों की बैठक में गृहमन्त्री चिदम्वरम ने चर्च के हिन्दूविरोधी-देशविरोधी एजंडे को आगे बढ़ाते हुए एक वार फिर भगवा आतंकवाद वोले तो हिन्दू आतंकवाद का खतरा बताते हुए आरोप लगाया कि इससे पहले मुसलमानों पर हिन्दू आतंकवादी बहुत से हमले कर चुके हैं!
आपकी जानकारी के लिए बता दें की हिन्दूओं पर आतंकवादी होने का सबसे पहला आरोप कांग्रेस व मिडीया ने 2007 में लगाया । कांग्रेस व मिडीया ने कुल मिलाकर 3 से 5 मुसलिम आतंकवादी हमलों को हिन्दू आतंकवादी हमला कहकर लोगों को गुमराह करने की कोशिश की।
2004 में मुम्बई पर हुए मुसलिम आतंकवादी हमले का दोष हिन्दूओं के सिर मढ़ने की कोशिश की लेकिन जांबाज पुलिस जवानों द्वारा कशाब को जिन्दा पकड़ लेने के कारण कांग्रेस व मिडीया का हिन्दूविरोधी षडयन्त्र सफल न हो सका वरना कांग्रेस व मिडीया ने तो आतंकवादियों की कलाई में कंगन बन्धे होने की बात कहकर मुसलिम आतंकवादी हमले को निर्दोष देशभक्त हिन्दूओं पर मढ़ना शुरू कर दिया था। क्योंकि इस हमले में हेमन्त करकरे व मुसलमान भी मारे गय थे इसलिए कांग्रेस व मिडीया का कुतर्क था कि मुसलिम आतंकवादी मुसलमान को नहीं मार सकते व क्योंकि हेमन्त करकरे पर दबाब बनाकर कांग्रेस ने हिन्दू आतंकवाद का झूठ फैलाया था इसलिए उन्हें भी मुसलमान नहीं मार सकते ऐसा कुतर्क कांग्रेस व मिडीया ने पैदा किया।।
इसी कुतर्क को आधार बनाकर मस्जिदों पर हुए मुसलिम आतंकवादी हमलों को हिन्दूओं के सिर मढ़ा जा रहा है। अब चर्च व अरब देशों के हाथों विके हुए गद्दारों को कौन समझाए कि आतंकवाद का प्रायवाची ही इसलाम है--- आतंकवादी हमले करना मुसलमानों के genes में है आगर गैर-मुसलिम मिलें तो हमले पहले गैर-मुसलिमों पर अगर गैर मुसलिम न मलें तो हमले मुसलमानों पर ---खून तो बहाना ही है क्यों खून न बहायेंगे तो इनका अल्लहा जिन्दा कैसे रहेगा क्योंकि ये अल्लहा तो सिर्फ खून का प्यासा है।
आगर इनके कुतर्क के सही मान लिया जाए तब तो सारे संसार में पाकिस्तान मुसलिम देशों पर हो रहे मुसलिम आतंकवादी हमलों को मुसमान नहीं वल्कि हिन्दू ही अन्जाम दे रहे हैं वो हिन्दू जो खुद अपने देश भारत में हिन्दूओं पर मुसलमानों व इसाईयों द्वारा किए जा रहे हमलों व धर्मांतरण का अपनी हिंसा विरोधी निती के कारण प्रतिकार नहीं कर सके।
भारत पर 1970 से आज तक कुल मिलाकर 10000 से अधिक मुसलिम आतंकवादी हमले हो चुके हैं जिनमें एक लाख से अधिक हिन्दू मारे जा चुके हैं।
http://khabar.ibnlive.in.com/news/6095/2
अकेले कशमीर घाटी में ही मुसलमानों ने 60000 से अधिक हिन्दूओं का कत्ल कर पांच लाख से अधिक हिन्दूओं को अपने ही देश में वेघर कर दिया।
असाम में भी मुसलिम आतंकवादियों द्वारा कांग्रेस के सहयोग से हिन्दूओं का कतलयाम व हिन्दूओं को वेघर करने का खेल यथावत जारी है।
उतर-पूर्व में इसाई आतंकवादियों द्वारा हिन्दूओं का कतलयाम कर उन्हें डरा धमकाकर धर्मांतरण कर ईसाई बनाने न बनने की स्थिति मे पलायन करने को मजबूर करने का क्रम जारी है। परिणामस्वारूप उतर-पूर्व के कई राज्यों में ईसाईयों की जनशंख्या 98 प्रतिशत तक पहुंच गई है। केरल में मुसलिम व ईसाई आतंकवादी मिलकर हिन्दूओं पर हमले कर रहे हैं। हमलों में खुद को ईसाईयों से आगे बताने के लिए अभी हाल ही में मुसलिम आतंकवादियों ने एक ईसाई प्रफैसर के हाथ काट डाले।
क्या आपने कभी कांग्रेस व मिडीया से कभी सफेद आतंकवाद वोले तो ईसाई आतंकवाद या हरा आतंकवाद वोले तो मुसलिम आतंकवाद नाम के शब्द सुने नहीं न?
यह वही कांग्रेस व मिडीया हैं जो लगातार ये कहते नहीं थकते थे कि आतंकवाद का कोई धर्म नहीं होता ।
लेकिन चर्च द्वारा अपनी रणनिती में बदलाब के साथ ही पिछले कुछ वर्षों से लागातार कांग्रेस व मिडीया वार-वार हिन्दू आतंकवाद- भगवा आतंकवाद शब्द प्रयोग कर सारे संसार में हिन्दूओं को बदनाम करने के अपने षडयन्त्र को आगे बढ़ा रहे हैं।
आज हिन्दूओं को आतंकवादी कहकर बदनाम वाले गद्दार वही लोग हैं जिन्होंने शहीद भगतसिंह व शहीद चन्द्रसेखर आजाद जैसे क्रांतिकारियों को भी आतंकवादी व उग्रवादी कहकर सम्बोधित किया था।
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2 टिप्पणियां:
सुनील जी आपका बहुत-बहुत आभार इतनी अच्छी जानकारी--- जैसे मुसलमान क़ा तत्वज्ञान आतंकबादी है उसी प्रकार ईशाई भी जहा इनकी संख्या कम रहती है वहा बड़े ही बिनम्र भाव से रहते है जैसे संख्या बढती है वैसे ही ये दानव हो जाते है नार्थ इस्ट इसका उदहारण है आज पुर्बांचल क़े कई भागो में भारतीय कुत्ते वापस जाओ क़े नारे इन्ही लोगो द्वारा प्रायोजित है .ये उसी प्रकार है जैसे भगवान श्रीराम जब सीता की खोज में दक्षिण की तरफ जा रहे थे पम्पा सरोवर पर एक शिला पर खड़े थे एक सफ़ेद बगुला सनैह-सनैह कदम बढ़ता हुआ चला आ रहा था भगवान ने लक्ष्मण से कहा की हे लक्ष्मण देखो यह बगुला कितना भगत है कि कही हिंसा न होजये इस नाते धीरे-धीरे कदम बढा रहा है शिला क़े नीचे एक मेढक बैठा था बोला की भगवान आप तो बड़े दयालु है ये बगुला सनेह-सनेह कदम बढ़ाते हुए हमारे पूरे परिवार को समाप्त कर चुका है ,अब वह हमारे लिए ही आ रहा है .ये ईशाई पादरी उसी बगुला भगत क़े समान है ये पूरे हिन्दू को समाप्त करना चाहते है उसी योजना में सोनिया गाधी ,मनमोहन और चितंबरम भी सामिल है .बार-बार भगवा आतंक कहकर हिन्दुओ को हतोत्साहित करना गृहमंत्री क़ा बोलना उसी योजना क़ा अंग है इनकी हिम्मत नहीं है जो असली आतंकबादी है यानी मुसलमान और ईशाई की उनका नाम ले सके.
जानकरी और आंखे खोल देने वाली रचना, बधाई आपको ।
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